24.12.22, खेडब्रह्मा तेरापंथ सभा एवं अणुव्रत समिति द्वारा मुनिश्री डॉक्टर मदन कुमार जी के सानिध्य में " व्यक्तित्व एवं राष्ट्रीय निर्माण में अणुव्रत की सहभागिता " कार्यशाला का आयोजन किया गया। इस कार्यशाला में अणुविभा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष श्री राजेश सुराणा ने मुख्य अतिथि के रूप में अपनी उपस्थिति दर्ज करवाई। कार्यशाला में खेडब्रह्मा के प्रांत ऑफीसर, आर्ट्स एंड कॉमर्स कॉलेज के प्राध्यापक, गुजरात माध्यमिक शिक्षण बोर्ड के सदस्य ने विशिष्ट आमंत्रित के रूप में अपनी उपस्थिति दर्ज करवाई। इस कार्यशाला में अहमदाबाद अणुव्रत समिति अध्यक्ष सुरेश बागरेचा, मंत्री मनोज सिंघी, बाबुलाल चोपड़ा, विमल बोरदिया, महेन्द्र बरड़िया, सूरत से अणुविभा के गुजरात राज्य चुनाव शुद्धि अभियान प्रभारी श्री राकेश चोरडिया भी उपस्थित रहे।उपस्थित सभी वक्ताओं ने अपने भावपूर्ण वक्तव्य में अणुव्रत की प्रासंगिकता का उल्लेख किया ।
राष्ट्रीय उपाध्यक्ष श्री राजेश सुराणा ने अणुव्रत की जानकारी दी एवं आज के युग में इसकी प्रासंगिकता, इसकी जरूरत पर वक्तव्य देते हुए उन्होंने जन जन तक अणुव्रत के सिद्धांत कैसे पहुंचा जाए उस पर अपने विचार प्रस्तुत किए। आगामी 21 फरवरी को अणुव्रत का अमृत महोत्सव का शुभारंभ खेडब्रह्मा की धरती से होने वाला है इसकी जानकारी सभा को दी।
मुनि श्री मदनकुमारजी ने अपने उद्बोधन में अणुव्रत की विशिष्टता एवं उसके जन उपयोग के बारे में अपने विचार रखे। किस प्रकार अणुव्रत के नियम अपनाकर व्यक्ति अपने व्यक्तित्व को सुधार सकता है एवं एक सुदृढ़ समाज की संरचना कर सकता है इसके बारे में जानकारी दें। श्री राकेश चोरडिया ने अणुव्रत के चुनाव शुद्धि अभियान के बारे में जानकारी दी एवं किस प्रकार एक स्वच्छ सरकार का चुनाव कर राष्ट्र निर्माण में लोग अपना योगदान दे सकते हैं इसके बारे में अपने विचार रखे। अहमदाबाद से समागत अणुव्रत समिति अध्यक्ष श्री सुरेश बागरेचा ने भी अपने विचार रखे । कार्यक्रम का आयोजन खेडब्रह्मा के कर्मठ एवं जुझारू कार्यकर्ता श्री शंकरलाल पितलिया ने किया,उन्होंने आश्वासन दिया कि अणुव्रत का अमृत महोत्सव खेडब्रह्मा से प्रारंभ होने जा रहा है उसके लिए उनका संपूर्ण सहयोग अणुविभा को मिलता रहेगा एवं जो भी कार्य होगा उसे तन मन धन से किया जाएगा,इसके साथ सभी के प्रति आभार प्रकट किया। इस कार्यशाला में खेडब्रह्मा के काफी गणमान्य सदस्य उपस्थित थे। कार्यशाला का सफलतम मंच संचालन मुनिश्री सिद्धार्थकुमारजी ने किया।
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