19 जुलाई, 2016. गुवाहाटी। जैन श्वेताम्बर तेरापंथी महासभा के द्वारा सभी तेरापंथी भाई- बंधुओं को जोड़ने और विकास के पथ पर साथ आरूढ़ करने के लिए एक महत्वाकांक्षी योजना का आगाज आज तेरापंथ स्थापना दिवस के शुभ अवसर पर परमपूज्य आचार्यप्रवर की पावन सन्निधि में किया गया। महासभा की योजना जैन तेरापंथ कार्ड और सम्पोषण परियोजना के बारे में महासभा के अध्यक्ष किशनलाल डागलिया; महामंत्री प्रफुल्ल बेताला; जैन तेरापंथ कार्ड के संयोजक विकास पुगलिया; प्रधानन्यासी हंसराज बेताला ने अपने विचारों की अभिव्यक्ति दी।
जैन तेरापंथ कार्ड के प्रथम नम्बर 1 और 13 नम्बर प्राप्तकर्ता क्रमशः हंसराज बेताला और भागचंद बरड़िया के साथ महासभा के पदाधिकारियों ने कार्ड का लोकार्पण किया और दोनों प्रथम कार्डधारकों को कार्ड सुपुर्द किया। इसी प्रकार ’’सम्पोषण परियोजना ’’ का महासभा के पदाधिकारियों द्वारा शुभारम्भ किया गया।
महासभा की गतिविधियों में उन्मेष आ रहा है : पूज्यप्रवर
मुख्य प्रवचन कार्यक्रम के पश्चात पूज्यवर ने फरमाया कि जैन श्वेताम्बर तेरापंथी महासभा की गतिविधियों में उन्मेष आ रहा है। नई योजना, नया चिंतन सामने आ रहा है। जैन कार्ड योजना आई है। समाज को संगठित रखने के लिए, सुव्यवस्थित रखने के लिए और सार- संभाल अच्छी तरीके से हो सके , इस दृष्टि से इसका महत्व है। पूज्यवर ने सम्पोषण योजना के लिए फरमाया कि समाज है तो सम्पोषण भी चाहिए। समाज को पोषण मिलने से फिर समाज कुछ करने की स्थिति में हो सकता है। महासभा खूब अच्छा आध्यात्मिक काम करती रहे, यह काम्य है। महासभा के कोषाध्यक्ष रमेश जी सुतरिया ने आभार ज्ञापन किया।
16 Comments
समस्त तेरापंथ समाज के लिये एक ही शब्द हे प्रभु ये तेरा पंथ । समस्त समाज को अग्रेषित करने के लिए एक नयी पहल एवं अच्छी सोच के लिए कोटि कोटि वंदन ।
ReplyDeleteसमस्त तेरापंथ समाज के लिये एक ही शब्द हे प्रभु ये तेरा पंथ । समस्त समाज को अग्रेषित करने के लिए एक नयी पहल एवं अच्छी सोच के लिए कोटि कोटि वंदन ।
ReplyDeleteदूरगामी सोच के लिए टीम महासभा को बधाई।
ReplyDeleteदूरगामी सोच के लिए टीम महासभा को बधाई।
ReplyDeleteॐ अर्हम
ReplyDeleteॐ अर्हम
ReplyDeleteOm arham
ReplyDeleteएक गुरु एक पंथ के आधार पर जैन कार्ड समाज को एक सुत्र में पिरोय जाने की अनुठी योजना है निस्संदेह इस योजना से समाज एक नए कृतिमान को स्थापित करेगा।जिससे राष्ट्र के साथ समाज का भी विकास सम्भव होगा।
ReplyDeleteThis comment has been removed by the author.
ReplyDeleteएक गुरु एक पंथ के आधार पर जैन कार्ड समाज को एक सुत्र में पिरोय जाने की अनुठी योजना है निस्संदेह इस योजना से समाज एक नए कृतिमान को स्थापित करेगा।जिससे राष्ट्र के साथ समाज का भी विकास सम्भव होगा।
ReplyDeleteएक गुरु एक पंथ के आधार पर जैन कार्ड समाज को एक सुत्र में पिरोय जाने की अनुठी योजना है निस्संदेह इस योजना से समाज एक नए कृतिमान को स्थापित करेगा।जिससे राष्ट्र के साथ समाज का भी विकास सम्भव होगा।
ReplyDeleteॐ अर्हम
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ReplyDeleteGood thought
ReplyDeleteतेरापंथ कार्ड वास्तव में एक विशिष्ठ और महत्वकांक्षी योजना है, मगर माफ़ी चाहते हुए यह भी कहना चाहूंगा कि अन्य योजनाओं की तरह इसका भी वैसा हश्र नहीं हो जाये,, कि इसकी उपयोगिता एवं वास्तविक लक्ष्य के मायने ही बदल जाएँ, साथ ही मैं महासभा को एक और भी सुझाव देना चाहता हूँ कि राजनीती से पर रह कर सभा और समाज के संगठनात्मक ढांचे की और विशेष ध्यान दिया जाये, इसे मजबूत किया जाये, ॐ अर्हम,, श्याम जैन पत्रकार, राजगढ़ {चूरू} 9414465264
ReplyDeleteहै प्रभु यह तेरापंथ
ReplyDeleteदिलीप डाकलिया
पूर्णियाँ, बिहार
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